यह बजट आर्थिक विकास के उस मॉडल को आंकडा़शुदा श्रद्धांजलि है जिसने भारत का एक दशक बर्बाद कर दिया।
खेद प्रगट का करने
इससे भव्य तरीका और क्या हो सकता है कि एक पूरे बजट को ‘वी आर सॉरी’ का आयोजन में बदल
दिया जाए। यूपीए का दसवां बजट पछतावे की परियोजना है। यह बजट आर्थिक विकास के उस
मॉडल को आंकडा़शुदा श्रद्धांजलि है जिसने भारत का एक दशक बर्बाद कर दिया।
प्रायश्चित तो मौन व सर झुकाकर होते हैं और इसलिए बजट से कोई उत्साह आवंटित नहीं
हुआ। चिदंबरम खुल कर जो नहीं कह सके उसे आंकडों के जरिये बताया गया। यह बजट पिछले
एक दशक के ज्यादातर लोकलुभावन प्रयोगों को अलविदा कह रहा है। वह स्कीमें जिन्हें
यूपीए कभी गेम चेंजर मानती थी अंतत: जिनके कारण ग्रोथ व वित्तीय संतुलन का घोंसला
उजड़ गया।